न विश्वास को डिगने देना
न विश्वास को डिगने देना
आत्मविश्वास का लेना संबल
मत छोड़ना हौसला अपना
बदलता है वक्त पल पल
दे प्रज्वलित दिव्य चेतना खुद को
कल्पनाओं को अपनी सत्य का रूप दे दे
जीत जा क्षण भंगुर निराशा से
पथ को अपने लक्ष्य का प्रारूप दे दे
हर कदम में हो स्वाभिमान का ओज
ले दृढ़ संकल्पित मन
जी अपनी आशाओं को रोज
खुद की अंतरात्मा को
दे अलौकिक ज्ञान
चल किसी भी दुर्गम पथ
होगी सफलता से ही पहचान
न विश्वास को डिगने देना